हौसला(Motivational) - Poem by Shipra Jha - Spenowr
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Shipra Jha

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हौसला

हौसला जब मिलता है दूर तक फूल खिलता है कांटे को फेंक देने का हर तूल यहां मिलता है। मुस्कान दिल से आती है ख़्वाहिशों में लगन लग जाती है शामो शहर बनते हैं सरीखे आसमां को चांद मिलता है। हौसला जब मिलता है मंजिलों के लिए इरादे हर मुश्किल आसां दिखती है रास्
By: ©Shipra Jha
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हौसला -Poem

हौसला जब मिलता है दूर तक फूल खिलता है कांटे को फेंक देने का हर तूल यहां मिलता है। मुस्कान दिल से आती है ख़्वाहिशों में लगन लग जाती है शामो शहर बनते हैं सरीखे आसमां को चांद मिलता है। हौसला जब मिलता है मंजिलों के लिए इरादे हर मुश्किल आसां दिखती है रास्

When you get the courage flowers bloom far away and every idea of throwing away the thorn can be found here. Smile comes from the heart and desires are passionate Shamo becomes a city just like the sky gets the moon. When you get encouragement intentions for destinations every difficulty seems to be easy.

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